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बुंदेली रंगों से सजाया नागेश्वर मंदिर की बाबड़ी को हम हैं इंसान टीम ने..

बुंदेली रंगों से सजाया नागेश्वर मंदिर की बाबड़ी को हम हैं इंसान टीम ने..

सागर। सागर के युवाओ ने  प्राचीन धरोहरों को संवारने का बीड़ा उठाया हुआ है।हम है इंसान ग्रुप की  अनोखी पहल से उपेक्षित एतिहासिक धरोहरों को  नया रूप मिल रहा है।
अपना शहर अपनी जिम्मेदारी समझ कर प्रत्येक रविवार शहर सजाने में लग जाती है हम हैं इंसान टीम। हम हैं इंसान की टीम लगातार दूसरे रविवार को पुनः सी. आर. मॉडल स्कूल पहुँची जहाँ काफी लंबे समय से प्रशासन की उपेक्षा का शिकार नागेश्वर मंदिर के सामने वाली पुरातत्व धरोहर चोपड़ा एवं संपूर्ण पार्क तथा दीवार (चोपड़ा की बाउंड्री वॉल) की साफ़-सफ़ाई कर उस पर रंग रोगन करके बुंदेली कलाकृतियाँ बना कर स्वच्छता के संदेश लिखे एवं मंदिर परिसर की सफाई की l 
ग्रुप के सदस्य अश्विनी सैनी ने जानकारी देते हुए बताया कि यह स्थान हमारी ऐतिहासिक धरोहर में से एक है जिसका संरक्षण अत्यंत आवश्यक है किंतु यह स्थान लगातार प्रशासन की उपेक्षा का शिकार बना रहा हैl ग्रुप के सदस्यों ने लोगों से भी अपील की कि वे आगे आएं और अपने सागर को स्वच्छ और सुंदर बनाने में अपना योगदान दें l
आज के अभियान में शुभम श्रीवास्तव, व्योम श्रीवास्तव, पंकज श्रीवास्तव, प्रशांत श्रीवास्तव, सलिल श्रीवास्तव, शिवम श्रीवास्तव, साकेत मिश्रा, सौरभ श्रीवास्तव, सोम श्रीवास्तव, अश्विनी सैनी, सुरजीत सिंह, रूपेश प्रजापति, वरुण जैन, देवेंद्र नामदेव, आशुतोष सराफ़, राज गर्ग, अनिष्का, और अर्चिता दुबे, हेमंत दुबे, राहुल गोस्वामी, राहुल सोनी, मानिक राज, आकांक्षा गुप्ता, अंकित मिश्रा, प्रकृति प्रेमी महेश तिवारी, शामिल हुए l


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मनुष्यता को बचाने में साहित्य की सृजनशीलता महत्वपूर्ण- कमिश्नरआनंद शर्मा

मनुष्यता को बचाने में साहित्य की सृजनशीलता महत्वपूर्ण- कमिश्नरआनंद शर्मा
डॉ राजेश दुबे की कृतियों का विमोचन 
सागर।  श्यामलम् संस्था के तत्वावधान में कवि कथाकार डॉ राजेश दुबे की दो काव्य कृतियों "गांव से लौटते हुए" एवं व्यंग्य संग्रह "नागफनी" का विमोचन हुआ। इस अवसर पर  सागर संभाग के कमिश्नर आनंद शर्मा ने कहा कि व्यंग्य लेखन समाज की विषमताओं की परत- दर- परत तीक्ष्ण बाणों से उकेरती रचना से समाज को स्पंदित कर देने की क्षमता रखना रखता है। व्यंग्य हो या कविता सामाजिक जीवन मूल्यों की रक्षा करने की ताकत देता है। साहित्य सृजन मनुष्यता को बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निर्मित करता है।
समाज की जड़ता को खत्म करता है साहित्य:विधायक शेलेन्द्र जैन
 सागर विधायक शैलेंद्र जैन ने कहा कि साहित्य समाज की जड़ता को समाप्त करता है ।राजनीति हो या समाज का कोई पक्ष हो, उसका रास्ता साहित्य से होकर ही जाता है। आदि काल से ही साहित्य की ताकतवर आधारशिला समाज को जागृत करती रही है। व्यंग्यकार डॉ. सुरेश आचार्य ने कहा की हास्य- व्यंग्य जीवन के दुखों को दूर करता है।सुख-दुख से परे आनंद की अनुभूति कराता है। देश के व्यंग्य पुरोधाओं ने अपनी रचना शीलता से समाज को,देश को झकझोरने और सही रास्ते पर चलने के लिए मार्ग प्रशस्त किया है। साहित्य सृजन समाज की संवेदनहीनता को समाप्त कर चेतना संपन्न बनाता है।
 गीतकार कवि डॉ.श्याम मनोहर सीरोठिया ने काव्य संग्रह "गांव से लौटते हुए" पर समीक्षात्मक आलेख में कविता का सूक्ष्म विश्लेषण करते हुए कहा कि कविता के संसार में उक्त संग्रह जीवन के अनुभवों के साथ भाव- जगत और सत्य के जगत में चर्चित होगा। व्यंग संग्रह "नागफनी" पर विस्तारपूर्वक दृष्टि डालते हुए कवयित्री लेखिका डॉ. चंचला दवे ने संग्रह की उपयोगिता और उपादेयता पर सार्थक और प्रभावी चर्चा की। लेखकीय वक्तव्य में डॉ. राजेश दुबे ने कहा कि प्रशासनिक जीवन की व्यवस्थाओं के बावजूद हिंदी साहित्य के प्रति गहरी रुचि से काव्य रचना और व्यंग्य संग्रह का पुस्तकाकार रूप पाठक समाज के सामने आना मेरी रचना शीलता को सार्थक करता है।
कार्यक्रम का प्रारंभ दीप प्रज्ज्वलन एवं मां सरस्वती के पूजन- अर्चन पश्चात् प्रसिद्ध बुंदेली गायक शिवरतन यादव द्वारा सरस्वती वंदना से हुआ। अतिथि स्वागत कुंदन पाराशर,आर.के. तिवारी,डॉ.वर्षा सिंह,हरीसिंह ठाकुर,रमाकांत मिश्र तथा डॉ.राजेश दुबे के परिजनों द्वारा किया गया। इस अवसर पर लेखक डॉ. राजेश दुबे का अभिनंदन भी किया गया।कवि डॉ. नलिन जैन ने अभिनंदन कविता का वाचन किया। आयोजक संस्था श्यामलम् के अध्यक्ष उमाकांत मिश्र ने स्वागत उद्बोधन दिया। साहित्यकार डॉ.महेश तिवारी ने स्तरीय संचालन किया तथा श्यामलम् के सह सचिव संतोष पाठक ने आभार माना। इस अवसर पर बड़ी संख्या में सागर नगर के प्रबुद्ध नागरिकों तथा कवियों, साहित्यकारों, लेखकों की उपस्थिति विशेष रुप से उल्लेखनीय रही।
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एनएसयूआई ने लोह पुरुष बल्लभ भाई पटेल की पुण्यतिथि मनाई

एनएसयूआई ने लोह पुरुष बल्लभ भाई पटेल की पुण्यतिथि मनाई
सागर । एनएसयूआई ने भारत को एक सूत्र में बांधने वाले लोह पुरुष भारत सरकार के पूर्व गृह मंत्री वल्लभ भाई पटेल की पुण्यतिथि पर उनके चित्र पर माल्यार्पण कर उन्हें याद किया। इस अवसर पर एनएसयूआई के जिला उपाध्यक्ष आदित्य चौधरी ने कहा कि भारत को एक सूत्र में बांधने के लिए और 500 रियासतों का भारत में विलय करना बल्लभ भाई पटेल की ही देन है वह पैदा तो बल्लभ पटेल हुए थे।  लेकिन उनके कार्यों ने उन्हें सरदार वल्लभभाई पटेल बनाया ।सरदार पटेल को याद करते हुए युवा कांग्रेस के महासचिव रितेश रोहित ने सरदार पटेल की कुछ बातों को बताया जैसे पटेल ने बोला था कि भारत की इस मिट्टी में कुछ अनूठा है जिसमें कई बाधाओं के बावजूद भी महान आत्माओं का निवास है इस अवसर पर मध्य प्रदेश कांग्रेस आईटी सेल के सचिव नैतिक चौधरी एनएसयूआई के जिला उपाध्यक्ष चक्रेश रोहित नीलेश अहिरवार हिमांशु चौधरी सत्यम रोहित आनंद अहिरवार अभिषेक अहिरवार रोहित चौधरी मनीष नगेले अन्य  NSUI के  सदस्य उपस्थित थे।
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जबलपुर, सागर, रीवा संभागों में अगले 24 घंटों तक बारिश जारी रहने के आसार

जबलपुर, सागर,  रीवा संभागों में अगले 24 घंटों तक बारिश जारी रहने के आसार
 सागर।मौसम विज्ञानी डॉ शैलेंद्र नायक के अनुसार उत्तर भारत में आए मौसम में बदलाव की तरह ही मध्य प्रदेश  में भी बारिश की गतिविधियां देखने को मिली हैं। पिछले 24  घंटों के दौरान रीवा शहडोल, जबलपुर एवं होशंगाबाद संभागों के जिलों में कहीं-कहीं  वर्षा हुई है एवं चम्बल संभाग के न्यूनतम तापमानों में काफी गिरावट दर्ज की गई। पूर्वी मध्य प्रदेश में अधिकांश स्थानों पर दिन के तापमान में 3 से 5 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है। अरब सागर से आने वाली आर्द्र हवाओं और उत्तर भारत से आ रही शुष्क हवाओं के मध्य भारत पर एक साथ मिलने के कारण मध्य भारत के भागों पर मौसम सक्रिय हुआ है और कुछ स्थानों पर बारिश देखने को मिल रही है। इन क्षेत्रों में बीते 2 दिनों से मौसम ने करवट ली है जिससे कई शहरों में बारिश दर्ज की गई है।
मध्य प्रदेश  में पिछले 24 घंटों के दौरान न सिर्फ बारिश हुई है बल्कि सुबह के समय बारिश के साथ-साथ कई इलाकों में घना कोहरा भी छाया है। कम से कम अगले 24 घंटों तक ऐसी ही स्थितियां बरकरार रहेंगी, जिसकी वजह से पूर्वी मध्य प्रदेश और दक्षिणी छत्तीसगढ़ में कुछ स्थानों पर बादलों की गर्जना के साथ हल्की बारिश रिकॉर्ड की जा सकती है।
वर्तमान पश्चिमी विक्षोभ उत्तर पूर्व की ओर खिसक गया है। एक ताजा पश्चिमी विक्षोभ 18 दिसंबर की रात से पश्चिमी हिमालय क्षेत्र की पहाड़ियों को प्रभावित करने की संभावना है, इस कारण पश्चिमी हिमालय क्षेत्र की पहाड़ियों में कुछ स्थानों या कहीं कहीं बारिश / बर्फवारी होने की संभावना है.  इस यह पश्चिमी विक्षोभ के कारण उत्तर पश्चिम भारत के मैदानी इलाकों में किसी भी महत्वपूर्ण मौसम की संभावना नहीं है। पंजाब और आसपास के क्षेत्रों में स्थित  पर प्रेरित चक्रवाती परिसंचरण अब अब दक्षिण पश्चिम उत्तर प्रदेश में स्थित है एवं  औसत समुद्र तल से 2.1 किमी ऊपर तक फैला हुआ है। बिहार औरआसपास के क्षेत्रों पर स्थित  चक्रवाती परिसंचरण अब औसत समुद्र तल से 2.1 किमी ऊपर उत्तरी  बिहार और आसपास के क्षेत्रों में स्थित है। पूर्वी बांग्लादेश और आसपास के क्षेत्रों  में स्थित चक्रवाती परिसंचरण अब अब उत्तरी असम एवं आसपास के क्षेत्रों में  में स्थित है  और समुद्र तल से 1.5 और 2.1 किमी के बीच फैली हुई है। केरल तट से दक्षिण-पूर्व अरब सागर पर पूर्वी हवाओं  में बनी द्रोणिका अब मालदीव से उत्तर लक्षद्वीप क्षेत्र तक औसत समुद्र तल से 0.9 किमी ऊपर  स्थित है।
आगामी 2 से 3 दिनों के दौरान मध्य प्रदेश में हल्के से मध्यम कुहरा की  बहुत संभावना है. 
आगामी २४ घंटों के दौरान सतना, सागर, पन्ना, उमरिया, जबलपुर, मंडला, बालाघाट, खजुराहो और आसपास के इलाके बारिश से प्रभावित हो सकते हैं। इस समय बारिश होने से दिन के तापमान में गिरावट आती है और सर्दी बढ़ जाती है, और यही हालात देखने को फिलहाल मिल रहे हैं। हालांकि पश्चिमी मध्य प्रदेश में मौसम मुख्यतः शुष्क बना रहेगा।
पूर्वी मध्य प्रदेश और उत्तरी छत्तीसगढ़ में अधिकांश स्थानों पर दिन के तापमान में 3 से 5 डिग्री सेल्सियस की गिरावट आई है। अगले 24 घंटों तक इसमें बढ़ोतरी नहीं होगी, उसके बाद बारिश का प्रभाव कम होते ही तापमान फिर से बढ़ सकता है। लेकिन बारिश बंद होने के बाद न्यूनतम तापमान में गिरावट देखने को मिलेगी, क्योंकि उत्तर पश्चिमी हवाएं मध्य प्रदेश सहित मध्य भारत के भागों तक पहुंचनी शुरू हो जाएंगी, जिससे पहाड़ों पर हुई बर्फबारी का असर मध्य भारत में भी तापमान में गिरावट और बढ़ती सर्दी के रूप में देखने को मिलेगा।
अगले 2 से 3 के दौरान 2-3 डिग्री सेल्सियस तक न्यूनतम तापमान में गिरावट किआ बहुत संभावना है. 20 दिसंबर से 22 दिसंबर तक मध्य प्रदेश का मौसम शुष्क बने रहने की संभावना है. मध्य में  में कुछ स्थानों पर गरज के साथ बारिश दर्ज की गई।
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जंगली सूअर का हमला,एक बच्चा सहित छह घायल

जंगली सूअर का हमला,एक बच्चा सहित छह घायल

@मनोज वाधवानी
सागर। सागर जिले के  खुरई देहात थाने के कोकलवारा गांव में आज सुबह एक  जंगली सूअर के हमले से एक बच्चा सहित छह लोग घायल हो गए। सूचना मिलते ही मौके पर इमरजेंसी एम्बुलेंस 108 के पायलट मनोज राय व डॉ जितेन्द्र राय पहुँचे। सभी घायलों को खुरई के सिविल अस्पताल में भर्ती कराया गया। जानकारी के मुताबिक सुबह-सुबह गांव में जंगली सूअर के आने से अपनी सुबह की दिनचर्या में लगे ग्रामीणों पर जंगली सूअर ने हमला कर दिया जिससे सभी लोग घायल हो गए। इसमें एक बच्चा भी शामिल है जो सुबह-सुबह शौच के लिए निकला था उस पर भी जंगली सूअर ने हमला कर दिया। जिसमे देलन,रामप्रसाद आदि घायल हो गए। घायलों का सिविल अस्पताल में इलाज किया जा रहा है। डॉ पीके जैन सिविल अस्पताल, खुरई ने बताया कि जंगली सूअर के हमले में छह लोग असपताल आये है । इनमे पांच लोगों को सूअर ने काटा है । वही बच्चे को चोट आई है । इनका इलाज किया जा रहा है।
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"मिशन-संतोष क्रांति":भ्रष्टाचार मुक्त शांतिपूर्ण जीवन जीने हेतु सामाजिक अभियान चलेगा, संभागीय साहित्यकार सम्मेलन एवं सम्मान समारोह "21-22 दिसम्बर को


"मिशन-संतोष क्रांति":भ्रष्टाचार मुक्त शांतिपूर्ण जीवन जीने हेतु सामाजिक अभियान चलेगा,
संभागीय साहित्यकार सम्मेलन एवं सम्मान समारोह "21-22 दिसम्बर को 

सागर। भ्रष्टाचार मुक्त शांतिपूर्ण जीवन जीने हेतु सामाजिक अभियान "मिशन-संतोष क्रांति" सागर जिले में चलाया जाएगा। यह जानकारी मिशन के संयोजक रिटायर्ड  महाप्रबंधक जिला उधोग  केंद्र सागर कृष्णकान्त बख्शी और इसके सरंक्षक और  बुन्देलखण्ड साहित्य एवंसंस्कृति विकास मंच, सागर के संयोजक मणिकांत चोबे बेलिहाज ने मीडिया को दी। इस  मौकेपर  "21-22  दिसम्बर को  आयोजित होने वाले संभागीय साहित्यकार सम्मेलन एवं सम्मान समारोह  की जानकारी दी गई।
सम्मेलन में 18 साहित्यकारों का सम्मान,5 पुस्तको का लोकार्पण होगा
संयोजक मणीकांत चौबे 'बेलिहाज ने बताया कि
सागर संभागीय साहित्यकार सम्मेलन एवं साहित्यकार सम्मान समारोह समीति तथा
बन्देलखंड हिन्दी साहित्य-संस्कृति विकास समीति के तत्वाधान में दो दिवसीय आयोजन 21-22 दिसम्बर 2019 को बी.एस.जैन धर्मशाला बड़ा बाजार में सुबह 11 बजे से प्रारंभ होगा। इससमारोह में माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विश्वविद्यालय के कुलपति  दीपक तिवारी मख्यअतिथी होंगे। साथ में समाजवादी चिन्तक रघु ठाकुर होगे। डॉ. सुरेश आचार्य ,
सेठ उदयचंद जैन, डा. बद्री प्रसाद जैन, डा, जी.एस. चौबे, संस्था के प्रान्तीय अध्यक्ष शुकदेव
प्रसाद तिवारी, कार्यकारी अध्यक्ष  के.के. बख्शी, पूर्व विधायक सुनील जैन उपस्थित रहेगे। वरिष्ठ
अधिवक्ता संस्कृत महाविद्यालय के अध्यक्ष कृष्ण कांत सिलाकारी की अध्यक्षता में समारोह संपन्न होगा। उदघाटन के साथ साहित्यकारों की चर्चा छात्रों की विभिन्न विषयों पर प्रतियोगितायें होगी। शामके 8 बजे से कवि सम्मेलन मुशायरा होगा दूसरे दिन 22 दिसम्बर को सुबह 8:30 बजे सेसाहित्यकारों का परिचय एवं  11:30 बजे सम्मान समारोह होगा। 4 बजे समीक्षा बैठक 5 बजे समापन होगा। सम्मान समारोह के बाद 5 पुस्तकों का लोकार्पण होगा।
इनका सम्मान होगा
इस बार 18 साहित्यकारों को सम्मानित किया जा रहा है जिनमें सागर से  रघु ठाकुर, डॉ. वेद
प्रकाश दुवे, डॉ. राजेन्द्र मलैया 'नमन', टीकमगढ़ से डॉ. नरेन्द्र मोहन अवस्थी,  पूरन चंद्र गुप्ता
 प्रभुदयाल श्रीवास्तव पीयूष, छतरपुर से श्री मनोज कुमार तिवारी, श्रीमती गायत्री देवी खरे
'केशव', श्री कन्हैया लाल साहू, पन्ना से प्रतीक द्विवेदी, डा. सीमा दीक्षित, श्रीमती मीना मिश्रा,
एस कुमार चनपुरिया, दमोह से श्रीमती आशा राठौर, श्री राजेन्द्र कुमार नेथन, जनाब अब्दुल शकूर अंजुम',निवाड़ी से डा. राजेश पाठक तथा श्रीमती मनीषा पाण्डे पूना महाराष्ट्र से शामिल है।
विमोचन के लिए आर्यभट्ट पंचांग के साथ दमोह के वरिष्ठ साहित्यकार रामकुमार तिवारी
की पुस्तक गोपी बिरह, बरई के युवा राष्ट्र कवि श्री दिलीप गुप्ता चटपटे की काव्य कृति मधु माटी,सागर के जनपथ के कवि बिहारी सागर की नवीन कृति बुन्देली गुईया और सागर के ही अध्यात्म के कवि मोतीलाल मोती की कृति सागर के मीती भाग-2 को सम्मिलित किया गया है। ।
श्यामलम अध्यक्ष उमाकांत मिश्रा, कपिल बैसाखिया, पूरन सिंह राजपूत, राजेन्द्र दुबे
कलाकार, दिनेश साह, राधाकृष्ण व्यास, नलिन जैन, शिखर चंद शिखर, पुष्पदंत हितकर,
देवकीनंदन रावत, शिरोमणी जैन वकील, तथा सागर इकाई के अध्यक्ष डा. सीताराम श्रीवास्तव
भावुक ने समस्त साहित्यकारों और गणमान्य नागरिक को समारोह में सम्मिलित होने की अपीलकी है।
"मिशन-संतोष क्रांति"
इस मौके पर कृष्णकांत बक्शी ने बताया कि आज के दौर में शांतिपूर्ण जीवन व्यततीत करना कठिन है। इसके लिए भ्रष्टाचार मुक्त शांतिपूर्ण जीवन जीने हेतु सामाजिक अभियान चलेगा। 
अभियान की उत्प्रेरक कन्या महाविद्यालय, सागर  की  मनोविज्ञान की प्रोफेसर डॉ रेखा बक्शी है।  उन्होंने कहा की सत्य ,अहिंसा, प्रेम, कर्त्तव्य-परायणता, ईमानदारी, समत्व आदि-आदि मानवीय-मूल्यों को स्थापना कि जरूरत है।। आज के इस अति-भौतिकवादी समाज में भी सर्वोच्चता तो इन्हीं सद्गुणों को प्राप्त
है। हम ईमानदार, कर्त्तव्यपरायण हों अथवा नहीं परन्तु अपने घर अथवा संस्थान में कार्य करने के लिए सत्यनिष्ठ ईमानदार, कर्त्तव्यपरायण व्यक्ति
की ही तलाश करते हैं। हममें भले ही ढेरों दोष हों, परन्तु अपनी सन्तान कोहम इन दोषों से दूर ही रखना चाहते हैं । भौतिकवादी के
मोह-पाश में जकडा मानव इन सदगणों से कतराता फिरता है। इसके लिए एक जागरूकता अभियान सागर जिले में चलाया जाएगा। विकासखंड स्तर पर नैतिक मूल्यों को लेकर गोष्ठी,प्रतियोगिताएं कर जागरूकता अभियान चलेगा। इसके साथ ही बेहतर और ईमानदारी से कार्य करने वालो को प्रेरक की भूमिका निभाहने वालो को जोड़ा जाएगा। जो ब्रांड की तरह होंगे।
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ठंड का समय : थोड़ा संभल के रहिये, इन बातों का ध्यान रखे :डॉ राजेन्द्र चउदा

ठंड का समय  : थोड़ा संभल के रहिये, इन बातों का ध्यान रखे :डॉ राजेन्द्र चउदा

सर्दियों का मौसम शुरू हो गया है । इस मौसम में शरीर का ध्यासन रखने की बेहद जरूरत है। खासतौर बीपी , हार्ट,दमा आदी के मरीजों के लिए। वही स्वस्थ्य रहने के लिए सतर्कता भी जरूरी है । आइए, क्या करे ठंड के मौसम में।

#ठंड के मौसम में ठंडी हवा से सर्दी ,खाँसी , बुख़ार , निमोनिया एवं साइनस की परेशानियां ज़्यादा होती हैं। ठंड में फ़्लू वायरस से इन्फ़ेक्शन होता है।सर्दी खाँसी होने पर गर्म पानी के गरारे एवं सादे पानी की भाप लें..गुनगुना पानी पीना सेहत के लिए लाभदायक है। सर्दी खाँसी होने पर घर परिवार के दूसरे सदस्यों के मुँह पर खाँसकर उन्हें बीमार ना करें।
#ठंड में श्वांस के मरीज़ों को साँस लेने में ज़्यादा दिक़्क़त हो सकती है.. ब्लड प्रेशर , हार्ट अटैक, मोटापा , दमा श्वांस , बीड़ी सिगरेट पीने से होने वाली फेफड़े की ख़राबी (COPD) , किड्नी की बीमारी एवं खून की कमी -  श्वांस की बीमारी के मुख्य कारण हैं ।

#ठंडी हवा कान में जाने से एक तरफ़ के चेहरे का लकवा (Bell's Palsy )हो सकता है।

#ठंडी हवा से Giddiness (Vertigo )की समस्या भी हो सकती है..अतः कान को ढँककर बाहर निकलें..।

#ठंड में चमड़ी ( Skin ) रूखी-रूखी सी रहती है एवं ओंठ फटते हैं...नहाने के बाद कोई भी Body Lotion या नीबू - ग्लिसरीन के साथ तिल या सरसों का तेल शरीर पर लगाएँ ।

#कई लोगों को ऊनी कपड़ों के पहनने से एलर्जी हो जाती है ..उन्हें इस्तेमाल करने से पहले अच्छे से धूप में सूखा लें.।

#ठंड में शरीर को गर्म बनाए रखने के लिए हार्ट को ज़्यादा तेज़ी से धड़कना पड़ता है ..ठंड में ब्लड प्रेशर भी बढ़ जाता है , जिससे हार्ट अटैक , लकवा , ब्रेन हेमोरेज जैसी बीमारियों का ख़तरा ज़्यादा हो जाता है ।अतः ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रख़ें...।

#ठंड में हार्ट अटैक एवं लकवा के मरीज़ों को दुबारा हार्ट अटैक एवं लकवा होने का डर रहता है.।

#जोड़ों के मरीज़ों को सुबह ठंड में जोड़ों में अकड़न होती है..माँसपेशियों में जकड़न भी हो सकती है ..अतः सुबह बिस्तर से बाहर निकलने से पहिले थोड़ा हाथ पाँव चला लें।

#व्यायाम करने से पहिले बी.पी. एवं शुगर कंट्रोल में रखें...।
#ठंड में पार्टियों का दौर रहता है....अधिक शराब शरीर के लिए नुक़सान दायक है..Drinks के साथ लेने वाले तले पदार्थ हानिकारक होते हैं.।

#धूम्रपान ना करें..बीड़ी , सिगरेट (धूम्रपान ) एवं तंबाखू से BP, हार्ट अटैक एवं लकवे की सम्भावना बढ़ जाती है.।

डॉ. राजेन्द्र चउदा..MD
सीनियर मेडिसिन विशेषज्ञ,सागर
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एक साल पहले क्या हो रहा था इन दिनों…

एक साल पहले क्या हो रहा था इन दिनों…

  ब्रजेश राजपूत/सुबह सवेरे में ग्राउंड रिपोर्ट 
कहते हैं पत्रकारिता जल्दबाजी में लिखा इतिहास होता है, 2018 के विधानसभा चुनाव पर लिखी अपनी किताब ' चुनाव है बदलाव का ' के पन्ने पलट रहा हूं, और पिछले  साल इन दिनों का भोपाल में हुआ राजनीतिक घटनाक्रम आंखों के सामने घूमने लगा है। सबसे पहले बात भोपाल में कांग्रेस दफतर इंदिरा भवन की जहाँ पर दिसंबर ग्यारह तारीख को सुबह से ही चहल पहल थी और ये चहल पहल शाम होते होते रौनक और फिर देर रात तक जीत के शोर शराबे खुशी उल्लास में बदल गयी। दफतर में लाइट की चमक दमक और एक तरफ जय जय कमलनाथ तो दूसरी तरफ से अबकी बार सिंधिया सरकार के नारे लग रहे रहे। लगातार आ रहे चुनाव परिणाम दिल की धडकनें बढा रहे थे मगर इधर रात खत्म होने को थी और ये तय नहीं हो पा रहा था कि कौन बनायेगा सरकार, क्योंकि देर रात के परिणाम थे कांग्रेस 112 और बीजेपी 109 बहुमत के जादुई आंकडे 216 से दोनांे दल दूर खडे थे। शायद पहली बार कई घंटे पार्टी दफतर में एक साथ एक छोटे से एंटी चैंबर में गुजारने ओर ढेर सारी ब्लेक काफी पीने के बाद कांग्रेस के जब तीनों दिग्गज नेता कमलनाथ, दिग्विजय सिंह ओर ज्योतिरादित्य सिंधिया रात ढाई बजे जब अपने अपने घरों को रवाना हुये तो बाहर खडे हम प्रेस के लोगों को बुलाया और दावा कि हमारे पास बहुमत है और हम सरकार बनायेंगे। हमने पूछा कैसे तो जबाव मिला अब ये सुबह बतायेंगे। 
तडके सुबह तक चुनाव परिणाम बदले और दो और सीटें कांग्रेस के खाते में आ गयीं और कांग्रेस पहुंची 114 तक मगर बहुुमत अब भी दूर था हां ये जरूर था कि चार निर्दलीय, दो बीएसपी और एक एसपी जीते थे जिनको कांग्रेस के खेमे में लाने के लिये पार्टी ने अच्छी खासी जमावट कर ली थी। कहते हैं दूध का जला छाछ भी फूंक फूंक कर पीता है तो गोवा के एपीसोड से मिले सबक के बाद सौ सीटों के पार होते ही कांग्रेस कार्यालय से रात में ही राजभवन फैक्स कर सरकार बनाने के लिये दावा पेश करने का समय भी मांग लिया गया। उधर बीजेपी भी बाजी छोडने के लिये तैयार नहीं थी देर रात में बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने टृवीट कर बीजेपी के सरकार बनाने की रेस में होने का दावा किया। उफ क्या दिन था वो जो सुबह आठ बजे से शुरू हुआ तो देर रात तक खत्म होने का नाम नहीं ले रहा था। रात में तीन बजे घर पहुंचते पहुंचते भी अगले दिन की तैयारियों में दिमाग लगा हुआ था और अगला दिन भी सुबह जल्दी शुरू हो गया। तत्कालीन सीएम शिवराज सिंह ने तकरीबन दस बजे टवीट किया ओर कहा कि हम जनमत का सम्मान करेंगे और सरकार नहीं बनायेंगे इस्तीफा देने राजभवन जा रहा हूं अभी। बस फिर क्या था कैमरा लेकर भागे राजभवन जहंा शिवराज अपने काफिले के साथ राजभवन में प्रवेश कर रहे थे, थोडी देर बाद शिवराज दूसरे गेट से निकले तो पहले गेट से कमलनाथ अपने काफिले के साथ राजभवन में दावा पेश करने जा रहे थे। ये सीन आज भी राजभवन के सामने से गुजरते हैं तो याद आता है, पंद्रह साल पुरानी सरकार जा रही है नयी सरकार आ रही है और शिवराज हम कैमरों की भीड देखकर रूक कर मुस्कुराकर कहते हैं बीजेपी की हार की जिम्मेदारी सिर्फ मेरी है मैंने इस्तीफा दे दिया नाव आई एम फ्री। तेरह साल का मुख्यमंत्री अपनी सत्ता राजभवन को सौंप कर घर की ओर रवाना हो गया। उधर कमलनाथ के सिविल लाइंस के घर की सुरक्षा बढा दी गयी प्रशासन को संकेत मिल गये कि प्रदेश के संभावित मुख्यमंत्री अब कमलनाथ ही हैं। मगर क्या कमलनाथ का मुख्यमंत्री बनना इतना आसान था नहीं कांग्रेस आलाकमान के सामने बडा संकट था कमलनाथ और सिंधिया में से किसे चुनें किसे प्रदेश की कमान संभालने को दें, और ये सस्पेंस भी तेरह तारीख को खत्म हुआ जब राहुल गांधी ने अपने टिवटर हेंडल से कमलनाथ और सिंधिया की एक साथ फोटो टवीट की और रूसी लेखक लियो टालस्टाय का क्वोट लिखा दो सबसे बडे लडाके होते हैं धीरज ओर समय,,ऐसा लगा कि राहुल ने अपने दोस्त सिंधिया को धीरज रखने ओर समय का इंतजार करने की सलाह देकर अनुभवी कमलनाथ को प्रदेश की कमान सौंपने का फैसला कर लिया जिसका अनुमोदन तेरह तारीख की रात में भोपाल के कांग्रेस दफतर में हुयी विधायक दल की बैठक में किया गया। सच में ये रात भी बडी सस्पेंस भरी थी कयास लग रहे थे कि क्या सिंधिया आसानी से आलाकमान का ये फैसला मानेंगे या फिर दूसरी राह चुनेंगे। अंदर विधायक दल की बैठक चल रही थी ओर बाहर हम टीवी पत्रकार कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के उत्साह को झेल रहे थे। खैर ये सस्पेंस भी देर रात खत्म हुआ और हम अगली सुबह हम फिर भोपाल के नूर उस सबाह होटल में थे जहां खबर थी कि सिंधिया अपने समर्थक विधायकों के साथ मीटिंग कर रहे हैं, मगर यहंा तो अपने विधायकों के महाराज मस्ती के मूड में थे, लाइव के पहले मुझे अपनी जैकेट उतार कर देने की तैयारी करने लगे फिर जब इंटरव्यू पर बैठे तो मुझे फिटनेस पर टिप देने लगे कुल मिलाकर ऐसा लगा कि उन्होंने अपने नेता की धीरज धरने की सलाह मान ली थी। और फिर 17 को ही कमलनाथ सरकार का शपथग्रहण समारोह हुआ जिसमें भी ऐसी ही ढेर सारी बातें हैं जो ' वक्त है बदलाव का' में हैं,,जिनका जिक्र फिर कभी,,                               
ब्रजेश राजपूत, एबीपी न्यूज,भोपाल 

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