संस्कार हीनता व्यक्ति, समाज और राष्ट्र तीनों का अहित करती है : पं रमेश शर्मा▪️परशुराम कथा : परशुराम जी पर क्रोधी होने, क्षत्रिय विरोधी और माता के सिरच्छेद के आक्षेपों का खंडन

संस्कार हीनता व्यक्ति, समाज और राष्ट्र तीनों का अहित करती है : पं रमेश शर्मा

▪️परशुराम कथा : परशुराम जी पर क्रोधी होने, क्षत्रिय विरोधी और माता के सिरच्छेद के आक्षेपों का खंडन

तीनबत्ती न्यूज
सागर 9 जून,2023 । व्यक्ति वही श्रेष्ठ बनता है जिसके बालपन से ही शिक्षा, संस्कार और स्व अस्तित्व की चेतना के विकास पर ध्यान दिया हो । 
यह बात आज पं रमेश शर्मा ने भगवान परशुराम कथा के दूसरे दिन भगवान परशुराम जी पर लगाने जाने वाले उन तीनों आक्षेपों का सप्रमाण खंडन किया जिसमें कहा जाता था कि वे बड़े क्रोधी थे, उन्होंने क्षत्रियों के विरुद्ध अभियान चलाया अथवा माता का सिरच्छेद किया । पंडित रमेश शर्मा ने कहा कि ये तीनों बातें षड्यंत्र पूर्वक जोड़ीं गईं हैं।  उन्होंने पुराणों और नारायण के प्रसंगों का उदाहरण दिया और कहा नारायण कभी क्रोध न करते,उन्होंने अपने किसी अवतार में कोई क्रोध न किया तब कैसे इस अवतार में क्रोध करेगें। दूसरा क्षत्रिय उनके स्कंध से उतपन्न हैं, क्षत्रिये नारायण की भुजाएँ हैं क्या भला वे अपनी भुजाओं को नाश करेंगे। यह समाज में विद्वेष फैलाने का षड्यंत्र है हमें सावधान रहना होगा ।

 पं रमेश शर्मा ने कहा कि समूचा ऋषि मंडल जानता था कि परशुराम जी नारायण का अवतार हैं, वे समस्त विद्याओं और कलाओं के स्वामी हैं फिर भी उन्हे बालपन से ही ऋषि परंपराओ, शस्त्र और शास्त्र अभ्यास कराया गया ।  यह प्रसंग समाज को संदेश देता है कि व्यक्ति निर्माण और संस्कार समृद्धि पर बालपन से ही ध्यान दिया जाना चाहिए। यदि पुराण कथाओं का अध्ययन करेंगे तो देखेंगे वे अवतार हों या महामानव सबकी शिक्षा दीक्षा पर बचपन से ही ध्यान दिया गया था । जिन बच्चों पर यह ध्यान नहीं दिया गया उन्होंने स्वयं का तो अहित किया ही समाज और राष्ट्र को भी क्षति पहुंचायी। दुर्योधन इसका उदाहरण है । अतएव पीढ़ी के निर्माण पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है । 

आज की कथा में भृगुवंश, हैहय वंश का परिचय सहस्त्रबाहु जी जन्म प्रसंग जी बाल लीलाएँ, वेदाध्ययन, शस्त्र अभ्यास,  सूर्यदेव द्वारा देवी रेणुका को छत्र और उपानह भेंट करना, शुनाशैप की मुक्ति,  तथा भगवान शिव द्वारा भगवान परशुराम जी को दिये गये वरदान की कथा आई। 
रवीन्द्र भवन में चल रही इस कथा का आरंभ आज भी वेदॠचा के पाठ हुआ है शुक्रवार की कथा में मुख्य अतिथि विधायक शैलेंद्र जैन, विधायक प्रदीप लारिया, महापौर प्रतिनिधि सुशील तिवारी रहे।
दीप प्रज्जवलन प्रदेश अध्यक्ष डॉ.  सुखदेव मिश्रा, पूर्व विधायक सुनील जैन, संतोष पांडे, डॉ. दिवाकर मिश्र, इंद्रजीत दुबे, केके दीक्षित, रामेश्वर रावत ने किया। कार्यक्रम में लता वानखेड़े, पार्षद शैलेन्द्र ठाकुर,  पार्षद मेघा दुबे, प्रतिभा चौबे, पार्षद नरेश यादव, आरके दीक्षित, केशव गोस्वामी, पवन शर्मा, अर्पित पांडे,  नरेंद्र तिवारी, श्रीमती  उर्मिला सोनी अनिल भट्ट गोविंद दुबे ज्ञान चंद शर्मा नरयावली विधायक प्रदीप लारिया राजा रिछारिया रेखा राजपूत हरिओम पांडे मोहित दुबे अनिल सैनी योगेंद्र त्रिपाठी सहित बड़ी संख्या में उपस्थित श्रद्धालुओं ने कथा श्रवण की।
विभिन्न लोगो का सम्मान 
कार्यक्रम में आज के विभिन्न क्षेत्रों में काम करने वाले लोगों का सम्मान किया गया जिसमें कोरोना वॉरियर्स ग्रुप में हरिओम पांडे, नेहा पांडे, डॉ. अशरफ खान, एस आर अहिरवार, ब्रजभूषण त्रिपाठी, स्काउट गाइड के सदस्य दुर्गेश रोहित, संजय सूर्यवंशी, भगवान सिंह लोधी, राहुल सेन, मेधावी छात्रों में प्रज्ञा भट्ट शैलेश तिवारी एवं पलक भट्ट का सम्मान किया गया।



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एडिटर: विनोद आर्य
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