सागर मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल में मरीज को बता दिया हार्ट में 100 फीसदी ब्लॉकेज : दूसरी हॉस्पिटल में निकले 40 फीसदी
▪️ व्यवसाई अजय दुबे ने इस मानसिक त्रासदी को लेकर हॉस्पिटल को भेजा नोटिस
तीनबत्ती न्यूज : 30 मई 2025
सागर : सागर के वरिष्ठ पत्रकार और व्यवसाई अजय दुबे के मेडिकल चेकअप में भोपाल की एक हॉस्पिटल द्वारा लापरवाही बरते जाने का मामला सामने आया है। अजय दुबे ने सागर मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल भोपाल पर गलत निदान और भय का माहौल बनाकर मनोवैज्ञानिक उत्पीड़न और व्यवसायिक नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया है और अपने वकील से नोटिस भी भेजा है।
मीडिया के सामने किया खुलासा
पत्रकार अजय दुबे , अधिवक्ता अतुल मिश्रा और अधिवक्ता ऋषि कुमार मिश्रा ने मीडिया के सामने पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी। अजय दुबे ने भोपाल के सागर मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल (SMH) पर गलत हृदय रोग निदान करने, झूठे भय का माहौल बनाने, और करोड़ों रुपये के व्यवसायिक नुकसान का कारण बनने का गंभीर आरोप लगाया है।
सागर मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल में जांच में निकले 100 % ब्लॉकेज
अजय दुबे ने बताया कि वे दिनांक 10अप्रैल 2025 को अपनी नियमित हृदय जांच के लिए SMH पहुंचे थे, जहां उन्हें कार्डिएक सीटी एंजियोग्राफी (CCTA) के आधार पर बताया गया कि उन्हें त्रैतीय वाहिका रोग (Triple Vessel Disease) है और मध्य कोरोनरी धमनियों में 100% ब्लॉकेज है। अस्पताल द्वारा कहा गया कि किसी भी प्रकार की हलचल से कार्डियक अरेस्ट हो सकता है और तुरंत सर्जरी जरूरी है।
घबड़ा गए अजय दुबे
इस भयावह सूचना से घबड़ाए और आहत होकर मरीज अजय दुबे ने तत्काल अपना को अपना 14 अप्रैल 2025 को मस्कट, ओमान के लिए निर्धारित एक अत्यंत महत्वपूर्ण व्यापारिक दौरा रद्द किया। उनके परिजन चिंता में पड़ गए और भोपाल पहुंच गए। ओमान टॉप कैंसिल करने से उनका आर्थिक नुकसान भी हुआ। अजय दुबे नियमित पांच किलोमीटर पैदल घूमते है और योगा और खेल आदि में नियमित रहते है।
____________
देखे :सागर मल्टी स्पेशलिटी हॉस्पिटल : मरीज को बता दिया हार्ट में 100 फीसदी ब्लॉकेज : दूसरी हॉस्पिटल में निकले 40 फीसदी
फेसबुक पर देखने क्लिक करे
https://www.facebook.com/share/v/16dKZYz2VC/
__________
मुंबई में जांच रिपोर्ट में निकले 40 फीसदी ब्लॉकेज
इसके बाद अजय ने मुंबई के सुराणा हॉस्पिटल में वरिष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. रमेश कवार से दूसरी राय ली। दिनांक 14 अप्रैल 2025 को कराई गई पारंपरिक इनवेसिव एंजियोग्राफी में यह पाया गया कि केवल एक धमनियों में 40% ब्लॉकेज है, जो सर्जरी की आवश्यकता नहीं रखता और सामान्य औषधीय उपचार से नियंत्रित किया जा सकता है। डॉ. कवार के अनुसार: “रिपोर्ट में कोई भी गंभीर समस्या नहीं है और ऐसी स्थिति 60 वर्ष की आयु में आम होती है। पूर्व अस्पताल की रिपोर्ट अत्यधिक भ्रामक और गलत है।” इसके बाद अजय दुबे और उनके परिजनों ने राहत की सांस ली।
यह भी पढ़े : Sagar : एजुकेशन पोर्टल पर भेजी विसंगतिपूर्ण जानकारी : सहायक संचालक, विकासखंड शिक्षा अधिकारी सस्पेंड
सागर मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल को नोटिस
इस घटना से आहत होकर मरीज ने अब कानूनी नोटिस जारी करते हुए SMH से ₹1 करोड़ का मुआवज़ा और ₹50,000 की कानूनी नोटिस लागत की मांग की है। मरीज के वकील, अधिवक्ता ऋषि कुमार मिश्रा का कहना है कि “यह केवल एक मरीज की लड़ाई नहीं है, बल्कि भारत में हो रहे मेडिकल भ्रांतियों और लालच के खिलाफ एक चेतावनी है।” उन्होंने बताया कि 15 दिनों के भीतर निपटारा न होने पर, अस्पताल के खिलाफ मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया, उपभोक्ता फोरम, और अन्य नागरिक एवं आपराधिक मंचों पर मुकदमा दायर किया जाएगा। 16 मई को नोटिस भेजा है। वकील ऋषि मिश्रा का कहना है कि हॉस्पिटल में इलाज में लापरवाही के मामले तेजी से बढ़े है। लोगो को जागरूक होने की जरूरत है।
लूट का अड्डा बने कार्पोरेट हॉस्पिटल
अधिवक्ता और सोशल एक्टिविस्ट अतुल मिश्रा का कहना है कि कार्पोरेट हॉस्पिटल और बड़े हॉस्पिटल लूट का अड्डा बने है। एक सामान्य स्थिति में हार्ट को लेकर ईसीजी और इको आदि टेस्ट होते है। लेकिन सीधे एंजियोग्राफी कराई गई। यह पैसा कमाने का धंधा बना है। हमारी लड़ाई इन हॉस्पिटल्स के गोरख धंधे के खिलाफ है।
______________



स्टीक विश्लेषण जनता को जागरूक करने अच्छी खबर
जवाब देंहटाएं