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महापौर चुनाव। पार्षद द्वारा किसी गैर-पार्षद को महापौर चुनने के प्रस्ताव परविचार किया ,घट सकता है महिला आरक्षण

 महापौर चुनाव। पार्षद द्वारा किसी गैर-पार्षद को महापौर चुनने के प्रस्ताव परविचार किया ,घट सकता है महिला आरक्षण
@दोपहर मेट्रो
भोपाल। महापौर के अप्रत्यक्ष चुनाव का अध्यादेश जारी करने औरभोपाल नगर निगम को दो भागों में बांटने के प्रस्ताव के बाद
अब नगर निगम चुनाव में अब पैराशूटर महापौर प्रत्याशी उतारनेकी कवायद भी शुरू हो गई है। इसके तहत प्रदेश में चुने हुएपार्षद द्वारा किसी गैर-पार्षद को महापौर चुनने के प्रस्ताव पर
विचार किया जा रहा है।
 हाल ही में राजस्थान सरकार ने निकायचुनावों में महापौर चुनाव को लेकर बड़ा बदलाव किया है।हालंकि इसमें यह तय नहीं है कि ऐसे मनोनीत महापौर कोपार्षद पद पर चयन के लिए कितना वक्त मिलेगा। माना जा रहाहै कि इस व्यवस्था को भी लागू किया जा सकता है, ताकि
महापौर के दावेदारों के लिए पहले पार्षद का चुनाव लडऩे कीबाध्यता समाप्त हो जाए। नगर निगम के चुनाव के संबंध मेंराजनेताओं और अफसरों के बीच इन बड़े बदलावों पर अनौपचारिक विचार-विमर्श शुरू हो गया है। भोपाल नगरनिगम के विभाजन की प्रक्रिया पूरी होने के बाद नगर निगमचुनाव से संबंधित इन बड़े बदलावों का प्रस्ताव कैबिनेट मेंआने की संभावना है।
घट सकता है महिला आरक्षण 
एमपी में नगरीय निकाय चुनाव में  इसके अलावा महिलाओं का आरक्षण 50 फीसदी से घटाकर 33 फीसदीकिया जा सकता है। 
तैयार कर रहे प्रस्ताव:
 जिला कांग्रेस अध्यक्ष कैलाश मिश्रा का कहना है कि हम छग, राजस्थानऔर कुछ अन्य राÓयों के ननि अधिनियम औरचुनाव प्रक्रिया का अध्ययन कर रहे हैं। इनसबके अध्ययन और मप्र की स्थिति केअनुसार एक प्रस्ताव शासन को देंगे। इसमेंआरक्षण और अन्य प्रक्रिया में बदलाव कासुझाव शामिल होगा।
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स्कूल शिक्षा विभाग के सभी शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक अमले की e-KYC होंगी,30 अक्टूबर तक

स्कूल शिक्षा विभाग के सभी शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक अमले की e-KYC होंगी,30 अक्टूबर तक

भोपाल । लोकशिक्षण संचालनालय भोपाल ने eKYC के सम्बंध में आदेश जारी किए है । आयुक्त जय श्री किवायत ने इसको जारी किए है। 

  आदेशनुसारविषयान्तर्गत स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत समस्त शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक अमले की जानकारीएजुकेशन पोर्टल पर पूर्व से संधारित है। प्रत्येक लोक सेवक का यूनिक id एजुकेशन पोर्टल पर पूर्व से जनरेटकिया गया है।
वर्तमान में अध्यापक संवर्ग से नवीन संवर्ग में नियुक्त लोक सेवकों का डाटा कोष एवं लेखा कोट्रान्सफर किया जाना है ताकि उनको 7th वेतनमान का लाभ शीघ्र प्रदाय किया जा सके | कोष एवं लेखाद्वारा सत्यापित आधार की जानकारी अनिवार्यतः चाही गयी है | आधार सत्यापित / e-KYC होने केउपरांत आधार आधारित जानकारी कोष एवं लेखा को प्रदाय की जा सकेगी।
      एजुकेशन पोर्टल पर संधारित ई-सेवा पुस्तिका में कई लोक सेवकों के नाम एवं पिता के नाम मेंआंशिक त्रुटियां है | e-KYC होने के उपरांत उनके नाम एवं पिता / पति का नाम आधार में दर्ज अनुसारकिया जा सकेगा जिससे इस प्रकार की त्रुटियों में सुधार सुनिश्चित हो सकेगा।
एजुकेशन पोर्टल पर प्रावधान किया गया
e-KYC करने के लिए एजुकेशन पोर्टल पर प्रावधान कर दिया गया है जिसे प्रत्येक लोक सेवक केद्वारा एजुकेशन पोर्टल पर e-KYC आप्शन पर जाकर बिना किसी यूजर / पासवर्ड के अपना यूनिक आईडीऔर आधार नंबर की प्रविष्टि कर OTP प्राप्त किया जायेगा और OTP को प्रविष्ट कर सत्यापन किया जा
सकता है। जिन लोक सेवकों का मोबाइल नंबर आधार में पंजीकृत नहीं होगा उनका बायोमेट्रिक
ऑथेंटिकेशन कियोस्क के माध्यम से किया जा सकेगा।सम्बंधित लोक सेवकों के द्वारा ऑथेंटिकेशन किये जाने के उपरांत संकुल प्राचार्य | DDO द्वाराआधार आधारित नाम और एजुकेशन पोर्टल पर दर्ज नाम दोनों को देखकर जानकारी सत्यापित की जाएगी।सत्यापन उपरांत सम्बंधित की ई-सेवा पुस्तिका में आधार आधारित जानकारी यथा नाम / पिता का नाम ।
जेंडर/ जन्मतिथि / पता आदि जानकारी को अपडेट किया जायेगा | इससे त्रुटिपूर्ण नाम आदि की जानकारीभी सही दर्ज हो सकेगी।
    समस्त जिला शिक्षा अधिकारी उपरोक्त कार्यवाही दिनांक 30 अक्टूबर २०१९ तक पूर्ण
कराया जाना सुनिश्चित करें।
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जिला स्तरीय जैव विविधता क्विज 2019 का आयोजन, प्रथम विजेता राज्यस्तरीय क्विज में हिस्सा लेगा

जिला स्तरीय जैव विविधता क्विज 2019 का आयोजन, प्रथम विजेता राज्यस्तरीय क्विज में हिस्सा लेगा
सागर ।वन विभाग एवं स्कूल शिक्षा विभाग की संयुक्त तत्वावधान में जिला स्तरीय जैव विविधता क्विज 2019 का आयोजन स्थानीय उत्कृष्ट विद्यालय सागर एवं रविंद्र भवन में किया गया।
       जिसमें कलेक्टर श्रीमती प्रीति मैथिल नायक की अध्यक्षता में एक समिति बनाई गई,  तथा नोडल अधिकारी डॉ महेंद्र प्रताप तिवारी जिला शिक्षा अधिकारी सागर को बनाया गया। प्रतियोगिता में सागर जिले के विभिन्न विकास खंडों से 50 टीम ने सहभागिता की। इन टीम का प्रातः 9:00 बजे से लेकर 12:00 बजे तक लिखित परीक्षा आयोजित की गई जिसमें से मूल्यांकन उपरांत 7 सर्वोच्च अंक प्राप्त करता टीम को मल्टीमीडिया क्विज के लिए चयनित किया गया। प्रातः काल में टीम के पंजीयन के समय वन मंडल अधिकारी  नवीन गर्ग, श्रीमती सीमा द्विवेदी और रेंजर  ठाकुर उपस्थित रहे। जिन्होंने टीम का हौसला बढ़ाया                नोडल संस्था के प्राचार्य आरके वैद्य ने विद्यार्थियों का तिलक लगाकर और चॉकलेट देते हुए अभिनंदन किया इसके पश्चात विद्यार्थियों की लिखित परीक्षा हुई। लिखित परीक्षा में अलग-अलग कक्षाओं के लिए अलग अलग नाम जैसे मगरमच्छ, गौरैया,  और नौरादेही का नाम दिए गए थे। 
          मल्टीमीडिया क्विज का आयोजन रविंद्र भवन सागर में किया गया जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में  मुख्य वन संरक्षक  ए.एस तिवारी, वन मंडल अधिकारी  प्रशांत सिंह, वन मंडल अधिकारी दक्षिण  नवीन गर्ग, उप वन मंडल अधिकारी देवरी  डीपी गुप्ता की उपस्थिति में सरस्वती पूजन उपरांत कार्यक्रम की शुरुआत की गई। इस बीच  रामेंद्र तिवारी ने जैव विविधता के संबंध में छात्र-छात्राओं को सरल भाषा में बताया।  श्री बीएल स्वामी सेवानिवृत्त वन क्षेत्रपाल ने जैव विविधता संरक्षण की आवश्यकता पर जोर दिया एवं अनुभूति कार्यक्रम के अनुभव सुनाए।। प्रतियोगिता में क्विज मास्टर  अनुराग चतुर्वेदी और  राजेंद्र प्रसाद अग्निहोत्री को बनाया गया था।
  मल्टीमीडिया क्विज में हुए सात राउंड
  मल्टीमीडिया क्विज में  नीलेश कुमार चौबे सहायक नोडल अधिकारी जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय सागर ने बताया कि इसमें सात राउंड आयोजित किए गए। जिसमें झटपट बोल, सोच समझकर बोल, पहचानो मैं कौन, दे दना दन, अब बताओ तो जाने पारखी नजर, बोलो बोलो मैं कौन हूं.... राउंड रखे गए। मंच पर 7 टीमों को गौरैया, नौरादेही, राहतगढ़, नीलकंठ, गढ़पहरा, चौसठ योगिनी और बाघ नाम दिए गए थे। बुंदेलखंड जैव विविधता के सात क्षेत्रों में से एक है। प्रश्नों में मध्य प्रदेश, भारत एवं विश्व में जैव विविधता के संबंध में प्रश्न पूछे गए। मुख्यतः पद्मश्री बाबूलाल दहिया, आम की प्रजाति ,प्रदूषण ,ग्लोबल वार्मिंग के दुष्परिणाम ,जलीय जीव डॉल्फिन, झाबुआ का कड़कनाथ, गिद्ध ,घड़ियाल, जैसे जीवो के साथ-साथ केदारनाथ की त्रासदी, चित्र देखकर पशु पक्षी को पहचान करना, जैसे किंगफिशर ,कृष्ण बग, लकड़बग्घा, अनाजों के विषय में भी प्रश्न पूछे गए। वीडियो दिखाकर उसमें फसल की पहचान, मिट्टी के गणेश बनाकर बीज का प्रदर्शन, बारह सिंगा ,आदि के वीडियो दिखाकर प्रश्न पूछे गए। कार्यक्रम मैं अरविंद बडोनिया ,राजीव तिवारी, अर्चना पांडे, सुनीता जैन, प्रतिभा द्विवेदी, रूपाली कटारे पुष्पा लोधी, मंजू लता राजपूत, महेश माहेश्वरी और वन विभाग से सोनी जी और स्टाफ उपस्थित रहा । 
विजेताओं  इस प्रकार रहे 
प्रथम स्थान :शासकीय उत्कृष्ट उच्चतर माध्यमिक विद्यालय देवरी के छात्र राजकुमार सेन , हिमाचल जाटव ,और विकास यादव 
द्वितीय स्थान :सेंट मैरी स्कूल मकरोनिया सागर के विजय लाज रूस, सौम्या पांडे ,जरीन अंसारी 
तृतीय स्थान :शासकीय उत्कृष्ट उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सागर के सत्यम श्रीवास्तव ,खुशी गोस्वामी ,सूरज पटेल ने प्राप्त किया। इनमें से प्रथम विजेता टीम को 13 नवंबर 2019 को राज्य स्तरीय जैव विविधता क्विज़ में भाग लेने के लिए जाना होगा ।जिले स्तर पर विजेताओं को प्रमाण पत्र के साथ मेडल व नगद पुरस्कार कर्म शाह 3000, 2100 एवं 1500 की नगद राशि  मुख्य अतिथि और वन संरक्षक प्राचार्य सहायक नोडल अधिकारी के माध्यम से वितरित की गई प्रतियोगिता का समग्र संचालन  नीलेश कुमार चौबे के द्वारा किया गया
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ब्रिटिश एम्बेसी एवं हाई कमीशन नई दिल्ली की चिवनिंग छात्रवृत्ति एवं फैलोशिप हेतु तीन दिवसीय प्रशिक्षण


ब्रिटिश एम्बेसी एवं हाई कमीशन नई दिल्ली की चिवनिंग छात्रवृत्ति एवं फैलोशिप हेतु तीन दिवसीय  प्रशिक्षण
सागर । डॉ हरिसिंह गौर विश्वविद्यालय सागर के प्राणीशास्त्र विभाग में ब्रिटिश एंबेसी एवं हाई कमिशन नई दिल्ली के द्वारा चिवनिंग छात्रवृत्ति एवं फैलोशिप हेतु तीन दिवसीय  प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। 
          कार्यक्रम के दूसरे दिन विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर प्रोफेसर आरपी तिवारी ब्रिटिश हाई कमीशन की ओर से पंकज जैन डायरेक्टर कैरियर प्लस सर्विस नई दिल्ली, डॉ तपस कुमार होम क्षेत्रीय निदेशक काजीरंगा विश्वविद्यालय असम, डॉ अश्वनी कुमार दुबे डीन फैकल्टी ऑफ साइंस ,श्री कृष्णा विश्वविद्यालय एवं एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर एनवायरमेंट एंड सोशल वेलफेयर सोसाइटी छतरपुर की गरिमामय उपस्थिति रही। 
       कार्यक्रम में पंकज जैन ने ब्रिटिश हाई कमीशन यूनाइटेड किंगडम के द्वारा स्नातक एवं स्नातकोत्तर स्तर पर शिक्षा प्राप्त करने के लिए छात्र छात्राओं को छात्रवृत्ति की विस्तृत जानकारी दी उन्होंने बताया कि जो छात्र छात्राएं इंग्लैंड अमेरिका फ्रांस जर्मनी दुबई में पढ़ना चाहते हैं वह अपने पंजीयन ऑनलाइन कर इसका लाभ ले सकते हैं। तपस कुमार होम ने छात्र छात्राओं को अपने उद्बोधन में कहा कि विदेश में शिक्षा ग्रहण करने से बच्चों में गुणवत्ता आती है। डॉ अश्वनी कुमार दुबे ने उच्च शिक्षा में क्वालिटी इंश्योरेंस पर प्रकाश डालते हुए कहा कि उच्च शिक्षा विभाग की संस्थाओं में गुणवत्ता लाने की आवश्यकता है विश्वविद्यालयों में समुचित लैब की व्यवस्था पुस्तकालय एवं शैक्षणिक माहौल तैयार करना अत्यंत आवश्यक है इसके अलावा प्रबंधन द्वारा आवश्यक सामग्री छात्र छात्राओं को आवश्यक शैक्षणिक सामग्री उपलब्ध कराना चाहिए ।कार्यक्रम की संयोजक डॉ दीपाली जाट ने सभी अतिथियों को स्मृति चिन्ह भेंट कर उनका सम्मान किया कार्यक्रम का संचालन विश्वविद्यालय की छात्रा डॉली ने किया।          इस अवसर पर प्राणी शास्त्र विभाग की विभागाध्यक्ष प्रोफेसर जे डी आही, डॉ एस के जैन, प्रो व्ही शर्मा ,प्रो एम सिकदर, प्रो एस यादव डाॅ पायल महोबिया ,डॉ आर श्रीवास्तव ,डॉ एस के मिश्रा ,डॉ आर के कोरी सहित विश्वविद्यालय की सैकड़ों छात्र छात्राएं उपस्थित रहीं कार्यक्रम उपरांत अतिथियों ने प्राणी शास्त्र विभाग का म्यूजियम फाइन आर्ट एवं संगीत विभाग का भी अवलोकन किया।
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पुलिस स्मृति दिवस। वृद्धाश्रम में पौधरोपण कर, पूछे हालचाल बुजुर्गों के, पुलिस की मदद का भरोसा दिलाया

पुलिस स्मृति दिवस। वृद्धाश्रम में पौधरोपण कर, पूछे हालचाल बुजुर्गों के, पुलिस की मदद का भरोसा दिलाया
सागर ।देश की सुरक्षा के लिए शहीद होने वाले पुलिस वालों की याद में पुलिस विभाग  21 अक्टूबर को पुलिस स्मृति दिवस मनाता है । उनकी शहादत को याद करने और उनसे प्रेरणा लेने के उद्देश्य से पुलिस द्वारा कई कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे है । 
         इसी क्रम में जवाहरलाल नेहरू पुलिस अकादमी के निदेशक जी.जनार्दन, पुलिस अधीक्षक  अमित सांघी, asp राजेश व्यास, और अन्य अधिकारी  वृद्धाश्रम पहुंचे । यहां वरिष्ठ वृद्धनागरिकों का कुशलक्षेम जाना एवं उनसे बातचीत कर उनकी समस्याओं  को जाना। इस अवसर पर वृद्धजनों को फल वितरित किये गये। वृद्धाश्रम के वृद्ध वरिष्ठ नागरिकोंद्वारा पुलिस स्मृति(शहीद) दिवस के इतिहास एवं पृष्ठभूमि के बारे गौर से सुना गया। इसके उपरांत वृद्धाश्रम परिसर में  अधिकारीगण द्वारा वृक्षारोपण भी किया गया। 
      निदेशक जी जनार्दन ने बताया कि पुलिस वालों की शहादत को याद करने और आत्मा की शांति के लिए हर साल स्मृति दिवस मनाया जाता है । आज आश्रम से कार्यक्रमो की शुरुआत हुई है । पुलिस अधीक्षक सांघी ने बताया कि स्मृति दिवस पर 21 अक्टूबर को  पुलिस परेड,रक्तदान ,शिविर और देशभक्ति गीतों की संध्या का आयोजन किया गया।इस मौके पर शहीद परिवार के सदस्यों को सम्मानित किया जाएगा। उन्होंने बताया कि बुजुर्गों की पुलिस से जुड़ी समसयाओ को सुलझाने में मदद की जाएगी। उसके साथ अन्य परेशानियों को हल करने का प्रयास करेंगे।
     इस मौके पर मोतीनगर थाना प्रभारी संगीता सिंह सहित अन्य पुलिसकर्मी उपस्थित थे।
इसलिए मनाया जाता है पुलिस स्मृति दिवस
          21 अक्टूबर 1959 को लद्दाख के हॉट-स्प्रिंग में, चीनी सेनाद्वारा भारी संख्या में बल सहित, घात लगाकर, देश की सीमा की सुरक्षा हेतु तैनात पुलिसबल की टुकड़ी पर हमला किया गया था। इस हमले में देश की सीमा की सुरक्षा हेतु प्रथमपंक्ति में तत्समय तैनात रहे केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल के एक छोटे से गश्तीदल के रणबाकुरोंद्वारा उक्त हमले में अपने प्राणों की आहूति देते हुये, देश की सुरक्षा एवं अखण्डता हेतुसर्वोच्च बलिदान दिया गया। इन्हीं केन्द्रीय रिजर्व पुलिस के रणबाकुंरों द्वारा शौर्य के असाधारणकार्य को स्मरण करने हेतु 21 अक्टूबर को प्रतिवर्ष देश भर में सभी पुलिस बल द्वारा पुलिसस्मृति दिवस के रूप में मनाया जाता है। इस अवसर पर उक्त शहीदों के साथ-साथ विगत एक वर्ष के दौरान देश एवं राज्यों की आंतरिक सरक्षा कायम करने हेतु कर्तव्य की बेदी परस्वयं के प्राणों की आहूति देकर शहीद हुये पुलिस अधिकारी/कर्मचारियों का भी पुण्य स्मरणकरते हुये श्रद्धांजली अर्पित की जाती है।
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बारिश में गिरा मकान,पिता अपने मासूम बेटे के साथ रहने लगा श्मशान घाट में। सागर से महज 10 किमी दूर ,एक आदिवासी की व्यथा

बारिश में गिरा मकान,पिता अपने मासूम बेटे के साथ रहने लगा श्मशान घाट में।
सागर से महज 10 किमी दूर ,एक आदिवासी की व्यथा
सागर। एक आदिवासी मजदूर की व्यथा शर्मसार करने वाली देखने मिली है । जिसका बारिश में कच्चा मकान  भरभरा गया । सरकारी मदद की आस में भटकने के बाद कोई ठिकाना नही मिला तो पिता ने मासूम बेटे के साथ श्मशानघाट में ठिकाना बना लिया।
       सागर जिला मुख्यालय से महज 10 किलोमीटर दूर कुडारी ग्राम में राम रतन आदिवासी की कहानी मानवता को शर्मसार करने वाली है। रामरतन आदिवासी का बारिश में  कच्चा मकान गिर गया था । जिससे बाद से वह अपने 9 साल के मासूम बच्चे हनुमत सहित श्मशान में रहने को मजबूर है ।यह पिता पुत्र दोनों रात में श्मशान में सोते हैं तथा दिन में भी जब कोई काम नहीं होता तो यह आराम करने श्मशान चले जाते हैं।
 नही मिला सरकारी योजनाओं का लाभ
         रामरतन के  कष्ट की कहानियों का अंत यही नहीं हो जाता है । इन को सरकार की योजनाओं का न लाभ मिला और ना ही ग्राम पंचायत से किसी प्रकार का सहयोग ।यह जैसे तैसे अपना जीवन यापन कर रहे हैं इस परिवार की हालत इतने बद से बदतर है कि कभी-कभी इस परिवार के दोनों सदस्यों को भूखे पेट ही सोना पड़ता है तथा कई बार पड़ोसी इनकी मदद करके खाना मुहैया कराते हैं।
मजदूर रामरतन बताता है कि  राम रतन की पत्नी का करीब 7 वर्ष पहले प्रसूति के दौरान स्वर्गवास हो गया था। उसकी मौत के बाद भी इसे किसी प्रकार की आर्थिक सहायता प्राप्त नहीं हुई। रामरतन ने मकान गिरने के बाद ग्राम के सरपंच को इस संबंध में सूचित किया परंतु ना ही उसे कुटीर स्वीकृत हुई और ना ही मुआवजा रामरतन का मासूम बच्चा स्कूल भी पढ़ने नहीं जाता है।
इसी  गांव के पावन यादव कहते है कि मकान गिरने के बाद रामरतन सरपंच के पास गया तो कोई मदद नही मिली। रामरतन के ऊपर जिम्मेदारी है बच्चे को पालने की । काम छोड़कर उसके खाने पीने की व्यवस्था करनी पड़ती है । इसके कारण किसी के यहां मजदूरी भी नही कर पाता है । भूसा के बोरे भरने उतारने का काम करता है ।
मासूम बेटे की पीड़ा,मरघटा में डर लगता है
        रामरतन आदिवासी का 9 साल का बेेटा 
हनुमत बताता है कि बरसात में मकान गिर गया था। मरघटा में रहते है । कई बार डर भी लगता है । कभी खाना मिलता है कभी नही।
सक्रिय हुआ प्रशासन
रामरतन आदिवासी की व्यथा जब मीडिया ने उठाई तो स्थानीय प्रशासन जागा। उसके लिए सरकारी मदद की बात होने लगी ।जिला पंचायत सागर के  एडिशनल सीईओ  राजेश पटेरिया के अनुसार मीडिया से पता चला है । इसके लिए सागर जनपद के ceo को निःर्देश दिए है । पीड़ितकी खाने पीने और रहने आदि की व्यवस्था जल्दी की जाएगी। इसके लिए दोषियों पर भी  कार्यवाई की जाएगी।
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