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Sagar: गांजा तस्करों को 13-13 साल की सजा और एक-एक लाख रूपये जुर्माना

Sagar:  गांजा तस्करों  को 13-13 साल की सजा और एक-एक लाख रूपये जुर्माना

सागर,7 मार्च 2023 । बोलेरो पिकअप से गांजे की तस्करी करने वाले आरोपीगण रामवीर सेन, जीतू कुषवाहा को स्वापक औषधि एवं मनः प्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985 की धारा 8 सहपठित धारा 20(इ)(पप)(ब्) एवं आरोपी अखिलेष षिवहरे को स्वापक औषधि एवं मनः प्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985 की धारा 8 सहपठित धारा 20(इ)(पप)(ब्) एवं सहपठित धारा 29 के तहत न्यायालय विशेष न्यायाधीश (अंतर्गत धारा 36 (1) स्वापक औषधि एवं मनःप्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985) सागर, श्रीमान अब्दुल्लाह अहमद की अदालत ने दोषी करार देते हुये 13-13 वर्ष का कठोर कारावास एवं 01-01 लाख रूपये अर्थदण्ड की सजा से दंडित किया है। विचारण के दौरान आरोपी प्रषांत राय की मृत्यु हो चुकी है एवं एक अन्य आरोपी दिलीप कुमार साहू के संबंध में अनुसंधान अभी लंबित है। मामले की पैरवी श्री अनिल  कुमार कटारे, विषेष लोक अभियोजक ने की। 
घटना का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि भारत संघ नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो, सबजोन मंदसौर के आसूचना अधिकारी को दिनांक 08.09.2019 को गुप्त सूचना प्राप्त हुई थी कि एक सफेद रंग की नई महिंद्रा बोलेरो पिकअप बिना नंबर की रामवीर सेन निवासी-बड़ोनी जिला दतिया द्वारा चलाया जा रहा है और उस वाहन के बॉडी की कैविटी में पर्याप्त मात्रा में गांजा छुपाकर रखा हुआ है। उक्त वाहन दिनांक 09.092019 को रात्रि करीब 23ः00 बजे से 23ः45 बजे के मध्य मालथौन टोल प्लाजा, सागर से गुजरेगा जिसमें खलासी जीतू कुशवाहा निवासी-बड़ोनी जिला दतिया भी है अधीक्षक मंदसौर द्वारा टीम का गठन किया गया। नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो सब जोन मंदसौर में पदस्थ अधिकारी आरक्षको सहित मालथौन टोल प्लाजा के लिए रवाना हुए। दिनांक 09.09.2019 को समय करीब 23ः30 बजे दो स्वतंत्र गवाह के समक्ष निवारक दल ने मालथौन टोल प्लाजा गुप्त सूचना अनुसार एक सफेद रंग की नई महिंद्रा बोलेरो पिकअप का अवरोधन किया, जिसमें सवार व्यक्तियों से पूछताछ चालक ने अपना नाम रामवीर एवं उसके साथ अन्य व्यक्ति ने अपना नाम जीतू कुशवाहा, दोनों निवासी-बड़ोनी जिला दतिया का होना बताया। रामवीर सेन ने पूछताछ में बताया कि वाहन के कैविटी में अवैध गांजा रखा है। आसूचना अधिकरी के साथ निवारक दल द्वारा उक्त सफेद रंग की बोलेरो के पीछे के बॉडी के निचली सतह में से स्वतंत्र साक्षियों के समक्ष 150 किलोग्राम अवैध गांजा बरामद किया गया, जिसे जप्त किया गया। अधिग्रहण कार्यवाही के दौरान वाहन महिंद्रा बोलेरो को वजह सबूत जप्त किया गया। उसके पश्चात् मुद्देमाल गांजे पर मार्क अंकित किया गया और प्रत्येक में से सेम्पल निकाले गए। मामले की विवेचना के दौरान आरोपी जीतू कुशवाहा ने मेमोरेण्डम में यह बताया कि उसके आधिपत्य से जप्त अवैध गांजा आरोपी अखिलेश उर्फ छोटू, निवासी-बड़ोनी जिला दतिया के रिश्तेदार प्रशांत राय, निवासी-झांसी उत्तरप्रदेश को पहुंचाना है मामले में जप्तशुदा बोलेरो पिकअप वाहन का स्वामी आरोपी अखिलेश उर्फ छोटू शिवहरे को बताया। महेंद्रा बोलेरो पिकअप गाड़ी संख्या एमपी 32 जी 0515 अखिलेश के स्वामित्व की थी, जो उसके द्वारा अपने रिश्तेदार प्रशांत राय को दी गई थी, जिसमें प्रशांत राय ने गांजा रखने हेतु वाहन में कैविटी बनवाया था, जिसका उपयोग तस्करी में किया जाना था, जो तथ्य अखिलेश के जानकारी में था एवं इस प्रकार अखिलेश शिवहरे की भी गांजे के परिवहन के मामले में षड्यंत्र के माध्यम से संलिप्तता पाई गई। अभियुक्तगण द्वारा अवैध मादक पदार्थ गांजा के कारोबार में शामिल होना बताए जाने पर के आधार पर उन्हें एनीडीपीएस एक्ट की धारा 8/20/29 के अधीन गिरफ्तार किया गया, आरोपीगण को अभिरक्षा में लेकर पूछताछ की गई। जप्तशुदा मुद्देमाल को सीलबंद कर मालखाना प्रभारी नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो मंदसौर को सुपुर्द किया गया। जप्तशुदा वाहन बोलेरो को नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो मंदसौर के कार्यालय में खड़ा किया गया एवं वाहन की चाबी मालखाना प्रभारी को सौंपी गई। उक्त आधार पर प्रकरण पंजीबद्ध कर मामला विवेचना में लिया गया, विवेचना के दौरान साक्षियों के कथन लेख किये गये, अन्य महत्वपूर्ण साक्ष्य एकत्रित कर नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो मंदसौर द्वारा  स्वापक औषधि एवं मनः प्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985 की धारा 8 सहपठित धारा 20(इ)(पप)(ब्) एवं धारा 20(इ)(पप)(ब्) सहपठित धारा 29 का अपराध आरोपीगण के विरूद्ध दर्ज करते हुये विवेचना उपरांत चालान न्यायालय मे ंपेश किया। अभियोजन द्वारा अभियोजन साक्षियों एवं संबंधित दस्तावेजों को प्रमाणित किया गया एवं अभियोजन ने अपना मामला संदेह से परे प्रमाणित किया । जहॉ विचारण उपरांत विशेष न्यायाधीश (अंतर्गत धारा 36 (1) स्वापक औषधि एवं मनःप्रभावी पदार्थ अधिनियम, 1985) सागर, श्रीमान अब्दुल्लाह अहमद की न्यायालय ने  आरोपी को दोषी करार देते हुये उपरोक्त सजा से दंडित किया है।
                                                                           

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